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प्रधानमंत्री मोदी की पंच-राष्ट्र यात्रा: सम्मानों का सिलसिला और भारत की बढ़ती साख!

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी आठ दिवसीय, पांच देशों की ऐतिहासिक यात्रा (2 जुलाई से 9 जुलाई) सफलतापूर्वक पूरी कर आज स्वदेश लौट आए हैं। इस दौरे में उन्होंने घाना, त्रिनिदाद और टोबैगो, अर्जेंटीना, ब्राजील और नामीबिया का दौरा किया। यह यात्रा न केवल भारत के वैश्विक संबंधों को मजबूत करने की दिशा में एक बड़ा कदम साबित हुई है, बल्कि प्रधानमंत्री मोदी को इन देशों से मिले सर्वोच्च नागरिक सम्मानों ने भारत की बढ़ती कूटनीतिक साख को भी उजागर किया है।

सम्मानों की झड़ी:

इस दौरे की एक सबसे खास बात यह रही कि प्रधानमंत्री मोदी को यात्रा के दौरान चार देशों ने अपने सर्वोच्च नागरिक सम्मान से नवाजा। यह उनके नेतृत्व और भारत की ‘वसुधैव कुटुंबकम्’ की भावना को वैश्विक स्वीकृति का प्रमाण है।

  • घाना में ‘द ऑफिसर ऑफ द ऑर्डर ऑफ द स्टार ऑफ घाना’: घाना में पीएम मोदी का भव्य स्वागत हुआ, जो 30 वर्षों में किसी भारतीय प्रधानमंत्री की पहली घाना यात्रा थी। घाना के राष्ट्रपति जॉन महामा ने उन्हें घाना का सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘द ऑफिसर ऑफ द ऑर्डर ऑफ द स्टार ऑफ घाना’ प्रदान किया। यह सम्मान भारत-घाना संबंधों को मजबूत करने और ग्लोबल साउथ में भारत के योगदान के लिए दिया गया।
  • त्रिनिदाद और टोबैगो में ‘द ऑर्डर ऑफ द रिपब्लिक ऑफ त्रिनिदाद एंड टोबैगो’: कैरेबियाई राष्ट्र त्रिनिदाद और टोबैगो में भी पीएम मोदी को देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘द ऑर्डर ऑफ द रिपब्लिक ऑफ त्रिनिदाद एंड टोबैगो’ से सम्मानित किया गया। यह सम्मान भारत और त्रिनिदाद के बीच गहरे सांस्कृतिक और ऐतिहासिक संबंधों को मजबूत करने के लिए दिया गया। यह 1999 के बाद किसी भारतीय प्रधानमंत्री की त्रिनिदाद और टोबैगो की पहली द्विपक्षीय यात्रा थी।
  • ब्राजील में ‘नेशनल ऑर्डर ऑफ द सदर्न क्रॉस’: ब्राजील में पीएम मोदी ने 17वें ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लिया और ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज इनासियो लूला दा सिल्वा के साथ द्विपक्षीय वार्ता भी की। उन्हें ब्राजील के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘नेशनल ऑर्डर ऑफ द सदर्न क्रॉस’ से सम्मानित किया गया। यह पीएम मोदी की ब्राजील की चौथी यात्रा थी और भारत-ब्राजील संबंधों को मजबूत करने में उनके योगदान को दर्शाता है।
  • नामीबिया में ‘ऑर्डर ऑफ द मोस्ट एंशिएंट वेलविट्सचिया मिराबिलिस’: अपनी यात्रा के अंतिम पड़ाव नामीबिया में, पीएम मोदी को नामीबिया के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘ऑर्डर ऑफ द मोस्ट एंशिएंट वेलविट्सचिया मिराबिलिस’ से नवाजा गया। यह किसी भारतीय प्रधानमंत्री की नामीबिया की पहली यात्रा थी और दोनों देशों के बीच उपनिवेशवाद के खिलाफ साझा इतिहास और मजबूत संबंधों को दर्शाता है।

वैश्विक मंच पर भारत की भूमिका:

यह पांच देशों का दौरा भारत के ‘ग्लोबल साउथ’ के साथ गहरे जुड़ाव और मजबूत साझेदारी बनाने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। इस दौरान, प्रधानमंत्री ने द्विपक्षीय वार्ताओं के साथ-साथ ब्रिक्स जैसे महत्वपूर्ण बहुपक्षीय मंचों पर भी भारत का पक्ष रखा। व्यापार, निवेश, रक्षा, ऊर्जा, कृषि, डिजिटल सहयोग और सांस्कृतिक आदान-प्रदान जैसे क्षेत्रों में कई महत्वपूर्ण समझौते किए गए, जिससे इन देशों के साथ भारत के संबंध और प्रगाढ़ होंगे।

प्रधानमंत्री मोदी की यह यात्रा न केवल व्यक्तिगत रूप से उनके लिए बल्कि पूरे भारत के लिए गौरव का क्षण है। यह दर्शाता है कि कैसे भारत एक जिम्मेदार वैश्विक खिलाड़ी के रूप में उभर रहा है और दुनिया भर के देशों के साथ मजबूत संबंध स्थापित कर रहा है। यह सम्मानों का सिलसिला भविष्य में भारत की वैश्विक स्थिति को और मजबूत करेगा।


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